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MoU Signs : THDC और PWD के बीच बड़ा समझौता; 21 मई 2024 एक महत्वपूर्ण दिन के रूप में चिह्नित

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MoU Signs : THDC और PWD – टीएचडीसी इंडिया लिमिटेड और उत्तराखंड लोक निर्माण विभाग के बीच समझौता: सुरक्षित मार्गों की ओर एक महत्वपूर्ण कदम

21 मई 2024 को, एक महत्वपूर्ण दिन के रूप में चिह्नित किया गया जब टीएचडीसी इंडिया लिमिटेड (THDCIL) और उत्तराखंड लोक निर्माण विभाग ने एक महत्वपूर्ण समझौता ज्ञापन (एमओयू) पर हस्ताक्षर किए। यह समझौता टीएचडीसीआईएल द्वारा उत्तराखंड लोक निर्माण विभाग को “तकनीकी सलाहकार” के रूप में सेवाएं प्रदान करने के लिए किया गया है। यह एमओयू उत्तराखंड लोक निर्माण विभाग के मुख्यालय, यमुना कॉलोनी, देहरादून में संपन्न हुआ। इस अनुबंध के माध्यम से, टीएचडीसीआईएल ने उत्तराखंड के भूभाग में यात्रा के दौरान वाहनों के लिए सुरक्षित मार्ग सुनिश्चित करने की प्रतिबद्धता को पुनः स्थापित किया है।

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THDC India Limited signs MoU with Uttarakhand Public Works Department

समझौते का उद्देश्य और महत्व

इस समझौते का प्रमुख उद्देश्य उत्तराखंड राज्य के विभिन्‍न राजमार्गों, प्रमुख जिला सड़कों और अन्य मार्गों पर ढलान संरक्षण के लिए विस्तृत परियोजना रिपोर्ट (डीपीआर) तैयार करना और तकनीकी सहायता प्रदान करना है। टीएचडीसीआईएल के अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक, श्री आर. के. विश्नोई ने इस अवसर पर कंपनी की महत्वपूर्ण भूमिका पर जोर देते हुए कहा कि कंपनी पहले से ही उत्तराखंड राज्य को तकनीकी सलाहकार के रूप में अपनी सेवाएं प्रदान कर रही है।

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श्री विश्नोई ने पारंपरिक तरीकों के साथ-साथ अत्याधुनिक तकनीक और लचीले उपचार उपायों को अपनाने की टीएचडीसीआईएल की प्रतिबद्धता पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि इस सहयोग का मुख्य लक्ष्य उत्तराखंड के भूभाग में यात्रा के दौरान वाहनों के लिए सुरक्षित मार्ग सुनिश्चित करना है। यह एमओयू टीएचडीसीआईएल की उत्कृष्ट परिणाम प्रदान करने और प्रगति में योगदान करने की प्रतिबद्धता को दर्शाता है।

पूर्व परियोजनाओं में टीएचडीसीआईएल की भूमिका

टीएचडीसीआईएल ने पहले भी इस क्षेत्र में अपनी परामर्शी सेवाएं विभिन्न राज्यों और संगठनों को प्रदान कर अपनी विशेषज्ञता साबित की है। इनमें सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय, देहरादून; सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय, अरुणाचल प्रदेश; सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय, पश्चिम बंगाल; भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण, जम्मू एवं कश्मीर; सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय, महाराष्ट्र; भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण पुणे; और भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण, शिलांग के लिए ढलान संरक्षण कार्यों में शामिल हैं।

इन परियोजनाओं में श्री माता वैष्णोदेवी और श्री अमरनाथ जी श्राइन बोर्ड जैसे पवित्र स्थलों के लिए ढलान संरक्षण कार्य और शूटिंग स्टोन्स और रॉकफॉल्स हेतु निवारक उपाय शामिल थे। टीएचडीसीआईएल ने इन परियोजनाओं में अपनी तकनीकी विशेषज्ञता और गुणवत्ता का प्रदर्शन किया है, जो इस नए एमओयू की सफलता की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।

समझौते के प्रमुख हस्ताक्षरकर्ता और गवाह

टीएचडीसीआईएल की ओर से श्री संदीप सिंघल, कार्यपालक निदेशक (तकनीकी), और उत्तराखंड लोक निर्माण विभाग की ओर से श्री दीपक कुमार यादव, अभियंता-इन-चीफ, ने एमओयू पर हस्ताक्षर किए। इस अवसर पर टीएचडीसीआईएल की ओर से डॉ. नीरज कुमार अग्रवाल, अपर महाप्रबंधक/प्रभारी, श्री अमित श्याम गुप्ता, प्रबंधक (सिविल डिजाइन) और उत्तराखंड लोक निर्माण विभाग की ओर से श्री ओम प्रकाश, मुख्य अभियंता, और श्री हरीश पांगती, एसई, भी उपस्थित रहे।

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तकनीकी सलाहकार के रूप में टीएचडीसीआईएल की भूमिका

इस एमओयू के तहत, टीएचडीसीआईएल की जिम्मेदारी होगी कि वह उत्तराखंड में विभिन्न सड़कों और राजमार्गों के ढलान संरक्षण के लिए विस्तृत परियोजना रिपोर्ट (डीपीआर) तैयार करे और तकनीकी सहायता प्रदान करे। कंपनी स्थलीय विशिष्ट चुनौतियों से निपटने के लिए पारंपरिक और आधुनिक तकनीकों का उपयोग करेगी। यह न केवल सुरक्षित मार्ग सुनिश्चित करेगा बल्कि राज्य की आधारभूत संरचना में भी सुधार लाएगा।

टीएचडीसीआईएल की प्रतिबद्धता और तकनीकी विशेषज्ञता

टीएचडीसीआईएल ने हमेशा से ही तकनीकी विशेषज्ञता और गुणवत्ता के प्रति अपनी प्रतिबद्धता को सर्वोपरि रखा है। कंपनी ने विभिन्न परियोजनाओं में अपनी तकनीकी सलाहकार सेवाओं के माध्यम से महत्वपूर्ण योगदान दिया है। उत्तराखंड में इस नई परियोजना के माध्यम से, टीएचडीसीआईएल ने एक बार फिर यह साबित कर दिया है कि वह सुरक्षित और स्थायी आधारभूत संरचना के निर्माण के लिए समर्पित है।

परियोजना के लाभ और संभावनाएं

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यह परियोजना न केवल उत्तराखंड के निवासियों के लिए बल्कि पर्यटकों और यात्रियों के लिए भी लाभकारी होगी। सुरक्षित मार्गों का निर्माण न केवल दुर्घटनाओं को कम करेगा बल्कि राज्य के पर्यटन उद्योग को भी बढ़ावा देगा। इसके अतिरिक्त, इस परियोजना से राज्य की अर्थव्यवस्था में भी सुधार होगा, क्योंकि बेहतर आधारभूत संरचना से व्यापार और परिवहन में वृद्धि होगी।

निष्कर्ष

टीएचडीसी इंडिया लिमिटेड और उत्तराखंड लोक निर्माण विभाग के बीच यह समझौता उत्तराखंड की आधारभूत संरचना के सुधार और सुरक्षित मार्गों के निर्माण की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। टीएचडीसीआईएल की तकनीकी विशेषज्ञता और प्रतिबद्धता से यह परियोजना निश्चित रूप से सफल होगी और राज्य के विकास में महत्वपूर्ण योगदान देगी। यह समझौता न केवल राज्य के निवासियों के लिए बल्कि देश के अन्य हिस्सों के लिए भी एक आदर्श उदाहरण बनेगा कि कैसे सरकारी और निजी संगठन मिलकर विकास और प्रगति की दिशा में काम कर सकते हैं।


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